
उत्तरकाशी ब्रेक के नाम पर चंद दिनों के लिए सियासत से दूरी तो ठीक है, लेकिन जब तीन राज्यों में पार्टी के चुनावी प्रदर्शन का सवाल हो तो भला कांग्रेसी युवराज कैसे खुद को इससे अलग रख पाते। सो गुरुवार सुबह दयारा की मंद-मंद ठंडी हवाओं के बीच हिमालय की बर्फ से ढकी चोटियों को निहारते राहुल गांधी अपने मोबाइल संग अपनी पार्टी के क्षत्रपों की परफार्मेस पर भी नजर रखते रहे। अब इसे तीन राज्यों के विधानसभा चुनाव नतीजे आने से पहले ही पार्टी के प्रति आत्मविश्र्वास कहें या फिर खूबसूरत वादियों का असर, लेकिन गुरुवार को राहुल बेहद खुश नजर आए। शायद यह उनकी जिंदगी का पहला मौका था जब समुद्र तल से दस हजार फीट की ऊंचाई पर बैठकर उन्होंने सियासी बिसात पर शह-मात के खेल का लुत्फ लिया। राहुल ने अपनी दिनचर्या की शुरुआत योगाभ्यास से की। इसके बाद कुछ देर तक उन्होंने अपने भांजा-भांजी के साथ फुटबाल खेला। हालांकि, इस दौरान उनका मोबाइल फोन लगातार बजता रहा। इस दौरान राहुल ने सुरक्षा प्रमुख को भी योग के गुर सिखाए। इसके बाद राहुल मोबाइल फोन पर व्यस्त हो गए। लगातार फोन पर बात करने के साथ ही वह अपने साथियों को शुरुआती रुझानों की सूचना देते रहे। दोपहर बाद राहुल ट्रैकिंग करते हुए दयारा से करीब चार किमी ऊपर बकरियां टाप तक भी गए। सूत्रों के मुताबिक राहुल शुक्रवार को दयारा से ही हेलीकाप्टर के जरिए दिल्ली रवाना हो जाएंगे। उल्लेखनीय है कि बुग्याल में पेड़ों की झुरमुट के बीच राहुल गांधी का शिविर लगा है, जिसके चारों ओर विशेष सुरक्षा बल का पहरा है। शिविर के सौ मीटर की परिधि तक किसी को जाने की इजाजत नहीं है। बुधवार को राहुल से मिलने के लिए वार्सू व रैथल गांव के लोग बड़ी संख्या में दयारा पहुंचे थे, लेकिन सुरक्षा बलों ने उन्हें दो सौ मीटर की दूरी पर ही रोक दिया।
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