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बुधवार, 21 अक्टूबर 2020

झाग-सा बैठा सिरसा में सफाई अभियान ,पखवाड़ा भर चलीं औपचारिकता, फिर वहीं हालात, हर ओर कचरा

डबवाली न्यूज़ डेस्क 
सिरसा। नगर परिषद द्वारा चलाया गया सफाई अभियान एक पखवाड़े में ही सिमट कर रह गया। वैसे तो अभियान की शुरूआत में ही यह हॉफने लगा था। डेरा प्रेमियों व अन्य सामाजिक संगठनों की बदौलत अभियान का श्रीगणेश हो पाया। जिसकी वजह से पखवाड़ाभर औपचारिकता की गई और अब फिर से वही हालात बन चुके है। हर ओर कचरा-ही-कचरा नजर आने लगा है। हैरतअंगेज बात तो यह है कि पखवाड़ाभर चले अभियान में शहर का अधिकांश एरिया इससे अनभिज्ञ ही रहा। जिन क्षेत्रों में महीना, साल, 10 साल से सफाई नहीं हुई, वहां अभियान के दौरान भी स्वच्छता अभियान के बोल सुनाई नहीं पड़ें। कचरे में रहकर जीवनयापन करने वालों की स्थिति आज भी जस की तस बनी हुई है। दरअसल, हर वर्ष स्वच्छता अभियान चलाने की नौटंकी की जाती है। व्यवस्था बदलने की ओर कोई ध्यान नहीं दिया जाता। हरेक केवल औपचारिकता ही पूरी करने को अपनी ड्यूटी समझता है, इसलिए हालात में कोई बदलाव नहीं आता। न तो नगर परिषद में सफाई कर्मियों की संख्या में बढ़ौतरी की जाती है और न ही सफाई कर्मियों से ली जाने वाली बेगार ही कम होती है। सफाई कर्मियों को वीआईपी एरिया में ही अधिक तैनात किया जाता है। शेष शहर की प्रशासनिक स्तर पर ही अनदेखी होती है। शहर की आधी से अधिक आबादी ने तो महीना-दो महीना नहीं बल्कि कई-कई सालों से सफाई कर्मियों को ही नहीं देखा होगा? सफाई कर्मचारियों को इतना बड़ा एरिया दे दिया जाता है कि अकेले व्यक्ति द्वारा पूरे वार्ड में सफाई करना भी संभव नहीं है। ऐसे में कुछ एरिया में ही सफाई की औपचारिकता पूरी की जाती है, शेष एरिया इससे वंचित ही रहता है। यदि नियमित रूप से सफाई हो तो स्वच्छता अभियान की आवश्यकता ही न पड़े।
स्लम बस्तियों की नहीं बदली तस्वीर
भले ही कागजों में कितने ही सफाई अभियान चला लों लेकिन शहर की स्लम बस्तियों की हालात में कभी बदलाव नहीं आया। जेजे कालोनी, चत्तरगढ़पट्टी, सिंगीकाट मोहल्ला सहित अन्य दलित बस्तियों में सफाई नाम की कोई चीज दिखाई नहीं पड़ती। इन कालोनियों में सफाई के नाम पर महज खानापूर्ति की जाती है। इन कालोनियों की बदत्तर हालात ही नगर परिषद की कारगुजारियों को बयां करती है। 
आज भी खुले में फैंका जाता है कचरा
नगर परिषद की ओर से शहर के सभी 31 वार्डों में न तो कचरे के लिए डंपिग स्थान बनाए गए है और न ही घर-घर से कचरा एकत्रित करने की व्यवस्था। यानि प्रशासन के स्तर पर ही लोगों को खुले में कूड़ा फैंकने के लिए मजबूर किया जाता है। अचरज की बात यह है कि सरकार की ओर से कचरा जलाने पर रोक लगाई गई है और कचरा जलाने पर जुर्माने का भी प्रावधान है। जबकि सफाई कर्मचारी न तो कचरे को कहीं पर डंप करते है और न ही जलाते है। तब कचरा कहां जाता है? घर-घर से कचरा एकत्रित करने वाली गाडिय़ां भी सभी गलियों में नहीं जाती। तब इन गलियों के लोग घर का कचरा कहां फैंकते है? नगर परिषद की ओर से गीला और सूखा कचरा अलग-अलग करवाने की बात कहीं जाती है, जबकि व्यवहार में कचरे के निस्तारण के लिए कोई व्यवस्था नहीं की गई है।
बाईपास पर मलबे के ढेर
नगर परिषद द्वारा भले ही मलबा निस्तारण के लिए हिदायतें जारी की गई है, लेकिन मलबे को शहर से दूर फैंकने की बजाए आसपास के एरिया में ही डाल दिया जाता है। नगर परिषद को मिनी बाईपास से जोडऩे वाले मार्ग पर ही मलबे के ढेर लगे है। सीडीएलयू के सामने की दिशा में और सिविल अस्पताल को जाने वाले मार्ग के किनारों पर लोगों ने मलबा डालकर कचरा-कचरा कर रखा है।
पहले सफाई, फिर कचरा
लोगों की आदत भी पुरानी ही बनी हुई है। कचरे में ही रहना। बाजारों में दिनभर गंदगी के बने रहने की वजह भी यही है। सफाई कर्मियों की ओर से सुबह-सवेरे ही सफाई कर दी जाती है। दुकानदार 8-9 बजे के बाद आते है। एक-एक करके सफाई करते है और दुकान का कचरा सड़क पर फैंकते है। यही कचरा हवा के साथ कभी इधर और कभी उधर फैलता। इस कचरे की सफाई अगले दिन सुबह होती है और कुछ देर बाद फिर से कचरा फैला दिया जाता है।

सूचना आयोग ने किया ईओ को तलब , 8 दिसंबर को होगी सुनवाई, आयुक्त जय सिंह बिश्नोई करेंगे सुनवाई

डबवाली न्यूज़ डेस्क 
आरटीआई के एक मामले में निर्धारित समयावधि में सूचना प्रदान न करने के मामले में राज्य सूचना आयोग हरियाणा ने नगर परिषद के ईओ (कार्यकारी अधिकारी) को आयोग में तलब किया है। मामले की सुनवाई के लिए 8 दिसंबर का दिन मुकर्रर किया गया है।राज्य सूचना आयुक्त जय सिंह बिश्नोई मामले की सुनवाई करेंगे। आयोग ने यह नोटिस आरटीआई एक्टिविस्ट पवन पारिक एडवोकेट की शिकायत पर जारी किया है।पवन पारिक ने नगर परिषद से 25 फरवरी 2020 को कुछ जानकारी मांगी थी। आरटीआई में शहर में लगाई गई हाई मास्ट लाईटों के बारे में जानकारी मांगी थी। पूछा गया था कि वर्ष 2016 से 2020 की अवधि के दौरान स्ट्रीट लाईट व हाई मास्ट लाईटों की रिपेयर का ठेका किसे दिया गया था। यह भी पूछा गया है कि स्ट्रीट लाईट के लिए अर्थ का सिस्टम की स्थिति कैसी है? यह भी पूछा गया था कि शहर में कहां-कहां हाई मास्ट लाईटें लगाई गई है और इनमें करंट के प्रवाह से हादसों को रोकने के लिए क्या उपाय किए गए है। आरटीआई में यह भी जानकारी मांगी गई है कि शहर में किन स्ट्रीट लाईट में अर्थिंग की व्यवस्था नहीं की गई है। करंट से बचाव के लिए अर्थ की व्यवस्था की जिम्मेवारी किसकी है। नगर परिषद के राज्य जनसूचना अधिकारी-सह-कार्यकारी अधिकारी की ओर से इस बारे कोई सूचना प्रदान नहीं की गई, जिस पर पवन पारिक ने सूचना आयोग में इस बारे शिकायत की। आयोग ने शिकायत पर संज्ञान लेते हुए नोटिस जारी किया है। नगर परिषद को एक दिसंबर तक आरटीआई का जवाब देने के निर्देश दिए गए है।

जमीनी विवाद में 118 लोगों को नोटिस, 20 फरवरी 2021 को होगी सुनवाई,कोर्ट नोटिस से मचा हड़कंप!

सिरसा। स्थानीय अदालत द्वारा जमीनी विवाद में रानियां रोड क्षेत्र के 118 लोगों को नोटिस जारी किए गए है। कोर्ट नोटिस से परिवादियों में हड़कंप मचा हुआ है।
कोर्ट की ओर से मामले में परिवादियों को 20 फरवरी 2021 को अपना पक्ष रखने के लिए कहा गया है। मामले से अनभिज्ञ लोगों को कुछ सुझाई नहीं पड़ रहा। मिली जानकारी के अनुसार एडिशनल सिविल जज की अदालत की ओर से गुरतेज सिंह पुत्र दयाल सिंह निवासी सुखचैन (सिरसा) की याचिका पर 118 लोगों को नोटिस जारी किया गया है। याचिकाकत्र्ता की ओर से कहा गया है कि उसने 17 मई 1989 में शमशाबादपट्टी का 82 कनाल रकबा (खेवट नंबर 380 खतौनी नंबर 490 जमाबंदी वर्ष 1986-87)चरणदास चेला पूर्णचंद निवासी शमशाबाद से फुल एंड फाइनल पेमेंट करके इकरारनामा किया था और इसकी एवज में तीन लाख 65 हजार रुपये की अदायगी भी की थी। याचिकाकत्र्ता की ओर से कहा गया कि एक सितंबर 1989 को इस प्रोपर्टी को आगे बेच दिया गया। जबकि इसे बेचने का कोई अधिकार नहीं था। याचिकाकत्र्ता की ओर से मामले में देव सिंह पुत्र मीत सिंह निवासी थमनगढ़ (बठिंडा), रामकुमार पुत्र हंसराज निवासी खैरेकां, निहाल सिंह पुत्र मनफूल निवासी मोहम्मदपुरिया, कलावती पत्नी रामकुमार निवासी खैरेकां, कृष्ण कुमार पुत्र बृजलाल निवासी मोहल्ला जेल ग्राऊंड, खैरतीलाल भाटिया पुत्र दर्शन दास निवासी द्वारकापुरी, महावीर प्रसाद पुत्र उदमीराम निवसी खारी सुरेरां,धर्मपाल पुत्र लक्ष्मीचंद निवासी खैरेकां, शोभा वर्मा पुत्र कृष्ण लाल निवासी मोहल्ला जेल ग्राऊंड, मनोज पुत्र रामकुमार निवासी शमशाबादपट्टी सहित 118 लोगों को प्रतिवादी बनाया है।
एडिशनल सिविल जज की अदालत ने मामले में सभी 118 लोगों को नोटिस भेजकर 20 फरवरी 2021 को अपना पक्ष अदालत में रखने के निर्देश दिए है। उधर, रानियां रोड एरिया में इस एरिया में रिहायश करने वाले परिवार कोर्ट से मिलें नोटिस से चौंक गए है। उन्हें समझ नहीं आ रहा कि आखिर कोर्ट ने उन्हें नोटिस क्यों दिए है? उनका क्या विवाद है? चूंकि उन्होंने प्रोपर्टी नियमानुसार खरीदी है और उसकी बकायदा रजिस्ट्री भी करवाई है। ऐसे में लगभग तीन दशक पूर्व के जमीनी विवाद में भेजे गए नोटिस से हड़कंप मचा हुआ है।

महेश्वरी ट्रस्ट व श्री श्याम ट्रस्ट को भी नोटिस

कोर्ट में विचाराधीन वाद में रानियां रोड स्थित श्री श्याम परिवार ट्रस्ट के साथ-साथ महेश्वरी चेरिटी ट्रस्ट को भी नोटिस दिया गया है। कोर्ट की ओर से जिन लोगों को नोटिस जारी किया गया है उनमें स्वामी सत्यानंद सेवा सदन भी शुमार है। ऐसे में कोर्ट द्वारा दिए जाने वाले फैसले से ही तय होगा कि क्या ट्रस्ट द्वारा विवादित क्षेत्र में निर्माण किया हुआ है या नहीं? इसके साथ ही जिनके नाम नोटिस में शुमार है, उनमें कई नामी-गिरामी लोग भी शामिल है।

एचईएसएल के बढ़ते कदमों से उपभोक्ताओं को मिली राहत

डबवाली न्यूज़ डेस्क 
हरियाणा एक्ससर्विसमैन लीग द्वारा किए जा रहे प्रयासों से बिजली उपभोक्ताओं की गलत बिल संबंधी शिकायतों में भारी कमी आई है।एचईएसएल द्वारा ऑन स्पॅाट बिल देने की दिशा में कार्य किया जा रहा है। जिसकी वजह से उपभोक्ताओं को बड़ी राहत मिली है। चूंकि ऑन स्पॅाट बिलिंग के कारण गलत रीडिंग की शिकायतों का समाधान हो गया है। एचईएसएल द्वारा पहले सिरसा में सिटी डिविजन और इंडस्ट्रियल एरिया में ऑन स्पॅाट बिलिंग का कार्य शुरू किया गया था। इसके लिए मीटर रीडरों को विशेष रूप से प्रशिक्षित किया गया। उन्हें आधुनिक उपकरण दिए गए है, जिन्हें बिजली के मीटर पर लगाना पड़ता है। मीटर से रीडिंग इस मशीन में चलीं जाती है और मौके पर ही बिजली का बिल निकल आता है। एचईएसएल द्वारा सिरसा के बाद ऐलनाबाद और डबवाली में ऑन स्पॅाट बिलिंग का कार्य शुरू किया गया और इन दिनों रानियां में भी यह सेवा शुरू कर दी गई है। अब कालांवाली में भी ऑन स्पॅाट बिलिंग की सेवा प्रदान करने की तैयारी की जा रही है। 

उपभोक्ताओं को मिलेगी राहत : फौजा सिंह

एचईएसएल के जिला प्रधान सेवानिवृत्त सूबेदार फौजा सिंह ने बताया कि ऑन स्पॅाट बिलिंग से उपभोक्ताओं को बड़ी राहत मिली है। इस सेवा के शुरू होने से बिल में गड़बड़ी की आशंकाएं निर्मूल हो जाती है। रीडिंग में छेड़छाड़ की गुंजाइश भी खत्म हो जाती है। उन्होंने बताया कि रानियां में भी ऑन स्पॅाट बिलिंग सेवा शुरू की जा चुकी है, जबकि कालांवाली में यह सेवा शुरू करने की दिशा में कार्य किया जा रहा है। शीघ्र ही कालांवाली के उपभोक्ताओं को मौके पर ही बिल प्रदान किया जाएगा।

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