
न्यूयार्क: दुनिया की चूलें हिला देने वाली ग्लोबल मंदी बिल गेट्स की बादशाहत को नहीं डिगा पाई। बिजनेस पत्रिका फोर्ब्स की दिग्गज अमेरिकी दौलतमंदों की सूची में माइक्रोसाफ्ट के संस्थापक व चेयरमैन गेट्स इस साल भी नंबर वन रहे। वह लगातार 16 सालों से अमेरिकी पत्रिका की 400 रईसों की इस सूची में शीर्ष पर जमे हुए हैं। बीते साल सितंबर से शुरू हुए वित्तीय वबंडर के चलते इस सूची के 400 दौलतमंदों की सामूहिक संपत्ति में 300 अरब डालर की कमी आई है। वह कितने धनी हैं इसका अंदाजा इस बात से ही लगाया जा सकता है कि दुनिया में ऐसे 140 से ज्यादा मुल्क कुल संपत्ति के मामले उनके सामने गरीब नजर आते हैं। ऐसे देशों में कोस्टारिका, उरुग्वे और बोलीविया जैसे देश शामिल हैं। म्यांमार और तंजानिया की कुल जीडीपी से उनकी संपत्ति कुछ ही कम है। यह तब है, जब आर्थिक संकट के कारण इस साल उनकी दौलत में 7 अरब डालर (करीब 334 अरब रुपये) की कमी आई है। इसके बावजूद अभी भी गेट्स की कुल संपत्ति 50 अरब डालर (करीब 2,385 अरब रुपये) है। फोर्ब्स ने वीरवार को अपनी सूची जारी की है। इसमें बिल गेट्स के बाद वारेन बफेट को दूसरे पायदान पर रखा गया है। इस सूची में चार भारतीय मूल के लोगों ने भी जगह बनाई है। इनमें 1.65 अरब डालर (करीब 71 अरब रुपये) के साथ भरत देसाई 212वें स्थान पर हैं। भरत अमेरिकी साफ्टवेयर फर्म सिंटेल के मुखिया हैं। वेंचर कैपिटलिस्ट और गूगल के संस्थापक निदेशकों में से एक कवितर्क राम श्रीराम 1.45 अरब डालर (करीब 69 अरब रुपये) के साथ 272वें पायदान पर हैं। 1.40 अरब डालर (करीब 66 अरब रुपये) के साथ साफ्टवेयर उद्यमी रोमेश वाधवानी को 277 वें स्थान पर जगह मिली है। वहीं वेंचर कैपिटलिस्ट विनोद खोसला 347 वें पायदान पर हैं। खोसला की कुल संपत्ति 1.1 अरब डालर है।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें